हरिद्वार अशोक गुलाटी editor-in-chief की रिपोर्ट केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने गुरूकुल कांगड़ी सम विश्वविद्यालय हरिद्वार के 113 वें दीक्षांत समारोह कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। इस अवसर पर 99 विद्यार्थियों को स्नातक, 100 विद्यार्थियों को स्नातकोत्तर, 56 विद्यार्थियों को पी.एच.डी की उपाधि प्रदान की। 83 विद्यार्थियो को स्वर्ण पदक से सम्मानित किया गया।
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह ने सभी को नवरात्रि की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि आज विश्वविद्यालय से उपाधि प्राप्त कर शिक्षार्थी नये जीवन की शुरूवात करने जा रहे है। गुरूकुल कांगड़ी संस्थान की नींव स्वामी श्रद्धानन्द जी ने रखी, महर्षि दयानन्द के सिद्धान्तों पर यहां शिक्षा का अविरल प्रवाह चलता है। आज यह विश्वविद्यालय महान वटवृक्ष बनकर समग्र देश और दुनिया को महर्षि दयानन्द का संदेश और हमारी पौराणिक शिक्षा पद्धति को आगे बढ़ा रहा है। यहां की शिक्षा पद्धति का महत्व देखकर ही महात्मा गांधी, राजेन्द्र प्रसाद, सर्वपल्ली राधाकृष्णन, श्यामा प्रसाद मुखर्जी, मोरारजी देसाई जैसे अनेक महानुभावों ने इस पूण्य भूमि की शिक्षा व्यवस्था को बल देने का कार्य किया। आज जो बैच शिक्षा पूर्ण कर जा रहा है, यह बैच आजादी के अमृत महोत्सव वर्ष एवं स्वामी दयानन्द सरस्वती के 200वें जन्म वर्ष का बैच है।…..
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने भारत और भारतीयता दोनों के गौरव को विश्वभर में बुलंद करने का कार्य किया है।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने गृहमंत्री श्री अमित शाह का देवभूमि की समस्त देवतुल्य जनता की ओर से स्वागत करते हुए कहा कि यह हम सभी के लिए बड़े गर्व का विषय है कि हमारे बीच गृहमंत्री जी के रूप में देश के एक ऐसे नेता उपस्थित हैं, जिनके अथक प्रयासों से और प्रधानमंत्री जी के मार्गदर्शन में आज सम्पूर्ण भारत आंतरिक रूप से जहां एक ओर अपने आपको सुरक्षित अनुभव करता है, वहीं दूसरी ओर अपने आपको पहले से अधिक संगठित एवं आत्मविश्वास से भरा हुआ अनुभव करता है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी और गृहमंत्री श्री अमित शाह जी ने कश्मीर से धारा-370 खत्म करने में सफलता भी प्राप्त की।
मुख्यमंत्री ने गुरूकुल कांगड़ी विश्वविद्यालय को दीक्षांत समारोह की बधाई देते हुए कहा कि उत्तराखण्ड में ज्ञान की अविरल गंगा को प्रवाहित करने वाले इस संस्थान में उपस्थित होकर स्वयं को गौरवान्वित महसूस कर रहा हूँ। महान शिक्षाविद् स्वामी श्रद्धानंद सरस्वती जी ने जो यह अद्भुत धरोहर मां भारती को सौंपी थी, उसका हिस्सा बनना और आप सभी साथियों से जुड़ना, मेरे लिए प्रेरक भी है और आनंददायक भी है। स्वामी श्रद्धानन्द जी ऐसे संन्यासी थे, जिन्होंने स्वामी दयानन्द सरस्वती जी की शिक्षाओं का प्रचार-प्रसार किया। वह भारत के उन महान राष्ट्रभक्त सन्यासियों में अग्रणी थे, जिन्होंने अपना जीवन स्वाधीनता, स्वराज्य, शिक्षा तथा वैदिक धर्म के प्रचार-प्रसार के लिए समर्पित किया था।
इस अवसर पर कुरूकुल कांगड़ी सम विश्वविद्यालय के कुलाधिपति डॉ. सत्यपाल सिंह, कुलपति प्रो. सोमदेव शंतांशु, कैबिनेट मंत्री डॉ. धन सिंह रावत, पूर्व मुख्यमंत्री एवं सांसद डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक, श्री तीरथ सिंह रावत, पूर्व मुख्यमंत्री श्री त्रिवेंद्र रावत, सांसद श्रीमती माला राज्यलक्ष्मी शाह, राज्य सभा सांसद श्री नरेश बंसल, डॉ. कल्पना सैनी, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष श्री महेंद्र भट्ट, विधायक श्री मदन कौशिक, श्री आदेश चाहान, संतगण एवं अन्य गणमान्य उपस्थित थे।